आपको बतादें की फेसबुक की पैरेंट कंपनी मेंटा पर यूरोपिय यूनियन ने 1.2 अरब का जुर्माना फाइल किया है. यूरोपिय यूनियन का मेटा पर ये इल्जाम है की मेटा यूजर्स की पर्सनल जानकारियों और व्यक्तिगत जानकारियों को सुरक्षित नही रख पा रहा है. इसके साथ ही मेटा कंपनी को यूरोपिय यूनियन की और से अमेरिका जा रहे डेटा को रोकने के लिए एक समय भी दिया गया है बताया जा रहा है की इस दिए गए समय में मेटा को यूरोपिय यूनियन से भेजा जा रहा डेटा जो की अमेरिका को भेजा जा रहा है रूक जाना चाहिए. सोमवार के दिन यानि 22 मई को आयरिश डेटा प्रोटेक्शन कमीशन ने फैसला सुनाते हुए कहा सोशल मीडिया की बड़ी कंपनी मेटा यूरोपिय यूनियन का डेटा अमेरिका में भेल रही है. जो की यूजर्स के मौलिक अधिकारों और स्वतंत्रता के खिलाफ है और उनके लिए परेशानी को बढ़ावा दे सकता है.
बतादें की कमीशन को इस बात का काफी खौफ है की अगर डेटा अमेरिका में भेजा रहा है तो ये डेटा अमेरिका की खुफिया एजेंसी तक भी बेहद आसानी से पहुंच जाएगा. आपको बतादें की इससे पहले यूरोपिय यूनियन ने ई काॅमर्स साइट अमेजोन पर भी ऐेसे ही एक केस में 6,680 करोड़ रूपये तक का जुर्माना लगाया था. लेकिन बतादें की मेटा पर चार्ज किया हुआ जुर्माना इससे काफी ज्यादा है.
जानकारी है की आयरिश डेटा प्रोटेक्शन ने कमीशन ने मेटा कंपनी को अमेरिका में भेजे जा रहे डेटा को रोकने के लिए 5 महीनों तक का समय दिया है. इसके साथ ही कमीशन ने अमेरिका में गैर कानुनी तरीके से स्टोर हो रहे डेटा की रोक थाम के लिए तकरीबन 6 महीनों तक का समय दिया है. आपको बतादें की इस डेटा को ट्रासंफर होने से रोकने की उम्मीद पहले से ही की जा रही थी. इसके साथ ही यूरोपिय यूनियन और अमेरिका के बीच डेटा फलो एग्रीमेंट पर भी बात जारी है.