नही थमने में आ रहा गाजा के अंदर मौत का तांडव
गाजा में मौत का तांडव थमने का नाम नहीं ले रहा है. ताजा इजरायली हमलों में 17 फलस्तीनियों की मौत हो गई है. इस संघर्ष में हताहतों की संख्या दिन-ब-दिन बढ़ती जा रही है, जिससे गाजा पट्टी में स्थिति अत्यंत तनावपूर्ण हो गई है.

गाजा के अंदर 17 फलस्तीनियों की मौत
इजरायल और हमास के बीच हिंसा का यह सिलसिला नया नहीं है. यह संघर्ष वर्षों से चला आ रहा है, जिसमें दोनों पक्षों ने एक-दूसरे पर कई हमले किए हैं. हाल ही में हुए हमलों में इजरायली सेना ने गाजा पट्टी में कई स्थानों पर हवाई हमले किए. इन हमलों का मकसद हमास के ठिकानों को निशाना बनाना बताया गया है. लेकिन इन हमलों में कई निर्दोष नागरिक भी मारे गए हैं.
इजरायली अधिकारियों का कहना है कि ये हमले आत्मरक्षा में किए गए हैं. उनका आरोप है कि गाजा से लगातार रॉकेट हमले किए जा रहे हैं, जिससे उनके नागरिकों की जान को खतरा है. इसके जवाब में, इजरायली सेना गाजा में हवाई हमले कर रही है. दूसरी ओर, गाजा के स्थानीय लोगों का कहना है कि इजरायली हमलों में उनके घर तबाह हो रहे हैं और वे बेघर हो रहे हैं.
अस्पतालों में बढ़ रही है घायलों की संख्या
गाजा में इस संघर्ष की वजह से मानवीय संकट भी गहराता जा रहा है. अस्पतालों में घायल लोगों की संख्या बढ़ती जा रही है और वहां संसाधनों की कमी हो रही है. बच्चों और महिलाओं की स्थिति भी बेहद दयनीय हो गई है. संयुक्त राष्ट्र और अन्य अंतरराष्ट्रीय संगठनों ने इस संघर्ष पर चिंता व्यक्त की है और दोनों पक्षों से शांति की अपील की है.

गाजा पट्टी में डर का माहौल कायम
गाजा पट्टी में रहने वाले लोग लगातार डर और आतंक के माहौल में जी रहे हैं. उनका कहना है कि उन्हें नहीं पता कि अगला हमला कब होगा और उनकी जान कब खतरे में पड़ जाएगी. वे इस संघर्ष से बाहर निकलने का रास्ता ढूंढ रहे हैं, लेकिन फिलहाल शांति की कोई उम्मीद नहीं दिख रही है.
इस संघर्ष का असर सिर्फ गाजा पट्टी तक सीमित नहीं है. अंतरराष्ट्रीय स्तर पर भी इस मुद्दे पर प्रतिक्रियाएं आ रही हैं. कई देश इस संघर्ष को रोकने के लिए कूटनीतिक प्रयास कर रहे हैं, लेकिन अभी तक कोई ठोस नतीजा नहीं निकला है. अभी के हालात में, गाजा पट्टी में शांति की बहाली एक कठिन चुनौती बनी हुई है. यह जरूरी है कि दोनों पक्ष बातचीत के जरिए इस समस्या का समाधान निकालें ताकि निर्दोष लोगों की जान बचाई जा सके और क्षेत्र में स्थिरता लौट सके.