नई दिल्ली: दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल को अब खत्म हो चुकी शराब नीति से जुड़े मनी लॉन्ड्रिंग मामले में राउज एवेन्यू कोर्ट ने 6 दिन की प्रवर्तन निदेशालय की हिरासत में भेज दिया है.
आम आदमी पार्टी (आप) सुप्रीमो 28 मार्च (गुरुवार) तक जांच एजेंसी की हिरासत में रहेंगे, उन्हें 28 मार्च को दोपहर 2 बजे कोर्ट में पेश किया जाएगा.
गुरुवार शाम को उत्पाद शुल्क नीति मामले में प्रवर्तन निदेशालय द्वारा उनकी गिरफ्तारी के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट से अपनी याचिका वापस लेने के तुरंत बाद केजरीवाल को ट्रायल कोर्ट में पेश किया गया था. रिमांड सुनवाई के दौरान, संघीय जांच एजेंसी ने आरोप लगाया कि केजरीवाल को दिल्ली उत्पाद शुल्क नीति 2021-22 को तैयार करने और लागू करने के लिए ‘साउथ ग्रुप’ से रिश्वत के रूप में कई करोड़ रुपये मिले.
एजेंसी की ओर से पेश अतिरिक्त सॉलिसिटर जनरल (एएसजी) एसवी राजू ने राउज एवेन्यू कोर्ट को बताया, उन्होंने गोवा चुनाव लड़ने के लिए ‘साउथ ग्रुप’ के कुछ आरोपियों से 100 करोड़ रुपये की मांग की थी.
राजू ने यह भी दावा किया कि मनी ट्रेल से पता चलता है कि गोवा चुनाव में इस्तेमाल की गई 45 करोड़ रुपये की ‘रिश्वत’ चार हवाला मार्गों से आई थी. इस बीच, अरविंद केजरीवाल की ओर से पेश हुए वरिष्ठ वकील अभिषेक मनु सिंघवी ने रिमांड याचिका का विरोध किया और दलील दी कि जांच एजेंसी को दिल्ली के मुख्यमंत्री को गिरफ्तार करने की आवश्यकता दर्शानी होगी. सिंघवी ने यह भी तर्क दिया कि गिरफ्तारी की शक्ति और गिरफ्तारी की आवश्यकता दो अलग-अलग चीजें हैं.
पहली बार कोई सीएम हुआ गिरफ्तार
वरिष्ठ वकील ने यह भी बताया कि आजादी के 75 साल के इतिहास में यह पहली बार है जब किसी मौजूदा मुख्यमंत्री को गिरफ्तार किया गया है, यह पहली बार है कि उनकी पार्टी के चार नेताओं को गिरफ्तार किया गया है. उन्होंने कहा, यह पहला वोट पड़ने से पहले ही नतीजे आने जैसा है.